Skip to content

हिमालय दिवस (Himalayan Day) । उद्देश्य तथा महत्ता

Himalayan Day Uttarakhand

हिमालय भारत के लिए सिर्फ एक प्रहरही ही नहीं बल्कि पहाड़ी लोगो के जीवन जीने का सहारा है जो पहाड़ी लोगो को अनेक तरह से लाभान्वित करता है जिसमे जड़ी बूटियों से लेकर ऋषि मुनियों का भी ध्यान केंद्र है जिस से निकलने वाली नदियां जीवन दाई है जो आधे भारत वर्ष को अपनी जीवन दाई नदियों से सींचता है। वहीं हमने इस हिमालय से जो भी लिया है उसके बदले इसको कुछ भी नहीं दिया। जब भी किया हिमालय से प्राप्त चीजों का दोहन ही किया है।

तो आज हमको क्यों जरूरत पड़ी है कि हिमालय को बचाने की ? जैसा कि भौगोलिक स्थिति से देखा जाए तो कश्मीर से लेकर हिमाचल तथा उत्तराखंड को जोड़ने वाली हिमालय की पहाड़िया सभी राज्यों को अनेक प्रकार से लाभान्वित करती है। जिसमें कुछ लोग अपने निजी स्वार्थ के लिए इसका गलत तरीके से उपयोग कर रहे है जिसके कारण हिमालय को काफी नुकसान हो रहा है। जिससे आने वाले समय में जलवायु में काफी परिवर्तन होगा जो भावी पीढ़ी के लिए कष्टकारी साबित हो सकते है।

हिमालय दिवस की सुरूवात (Himalayan Day)

आज से लगभग 10 साल पहले कुछ पर्यारण विदो ने इसकी गंभीरता को समझते हुए हिमालय को बचाने का निर्णय लिया जिसमे सुन्दर लाल बहुगुणा तथा अनिल जोशी की मुख्य भूमिका रही। जिसका उद्देश्य लोगों को हिमालय के प्रति जागरूक करना तथा हिमालय को होने वाले नुकसानों के बारे में बताना था।

आधिकारिक घोषणा

हिमालय दिवस की अधिकारी घोषणा 2014 में उत्तराखंड के पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत जी ने 9 सितंबर को की
तब से आधिकारिक तौर पर उत्तराखंड में हिमालय दिवस, 9 सितंबर को मनाया जाता है।

हिमालय बचाओ अभियान क्यों (Save Himalayas)

जिस तरह हम हिमालय से प्राप्त होने वाली चीजों का अत्यधिक मात्रा में दोहन कर रहे हैं उसकी वजह से हिमालय को काफी नुकसान हो रहा है जिसमें जल स्तर का गिरना तथा पहाड़ों पर भूस्खलन, बाढ़ की समस्या तथा अनेक प्रकार की वनस्पतियों का विलुप्त होना। हिमालय से निकलने वाली नदियों पर अनेक बांध मनाए जा रहे हैं जिससे प्रकृति का संतुलन बिगड़ रहा है। जिसमें मुख्य रूप से प्लास्टिक का अधिक उपयोग होना भी एक गंभीर समस्या है।

इन सभी चीजों को ध्यान में रखते हुए आगे आने वाले समय में हिमालय को काफी नुकसान होने की संभावनाएं हैं तथा इस नुकसान को कम करने के लिए लोगों में जागरूकता लाना था हिमालय बचाओ अभियान के तहत हिमालय बचाओ शपथ दिलाकर लोगों में जागरूकता लाई जा रही है। आज भी हमेशा की तरह लोग इस दिन इक्कठा होकर हिमालय को बचाने की सपथ लेे रहे है। तथा लोगो को जागरूक भी कर रहे है।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *